Mansukhbhai Jagani: Bullet Santi

गुजरात में अमरेली ज़िले के मोटा देवाल्या गाँव में एक गरीब किसान परिवार में जन्मे मनसुखभाई जगानी बहुत पढ़े लिखे नहीं हैं। उनका जीवन काफी संघर्ष भरा रहा। आर्थिक स्थिति ठीक नहीं थी तो उन्होंने स्कूल की पढ़ाई छोड़ दी और अपने पिता की खेती में मदद करने लगे। पानी की कमी के चलते जब अपने खेतों में कुछ नहीं हो रहा था तब उन्होंने दूसरों के यहाँ मजदूर के तौर पर भी काम किया। यह साल 1994 में था और मनसुख भाई ने अपना पहला आविष्कार किया, ‘बुलेट सांटी’। यह बिल्कुल ट्रैक्टर की तरह काम करता है। उन्होंने एक ऐसा ‘सुपर हल’ बनाया जो जुताई-बुवाई के साथ मिट्टी को समतल करने जैसे काम भी कर सकता है। सबसे अच्छी बात थी कि इसे उन्होंने मोटरसाइकिल के पिछले टायर को निकालकर, उससे जोड़ा। इस उपकरण का नाम उन्होंने बुलेट सांटी दिया क्योंकि सांटी स्थानीय भाषा में उस उपकरण कहा जाता है जिससे मिट्टी मुलायम और समतल होती है। मनसुख भाई बताते हैं कि उन्हें लगभग 5 बार में सफलता मिली।